Ambala News
- मां, छोटे भाई, उसकी पत्नी व तीन बच्चों को गंडासी से काटा, शवों को आग लगाई
- बेटों व सालों के साथ मिलकर किया हमला
- हमले में जख्मी पिता ने खेतों में छुपकर बचाई जान
- लकड़ियों से निकाली जलती लाशें
- खौफनाक हत्याकांड से गांव में दहशत
- जमीन बंटवारे को लेकर चल रहा था विवाद
- अंबाला में वारदात, फौजी समेत 7 लोगों पर केस दर्ज
- आरोपितों में 2 महिलाएं भी शामिल

Ambala News : नारायणगढ़ के गांव रतौर में एक रिटायर्ड फौजी ने दो एकड़ जमीन के लिए अपनी मां और छोटे भाई के परिवार को खत्म कर दिया। बताया जा रहा है कि दोनों भाइयों का दो एकड़ जमीन के बंटवारे को लेकर विवाद चल रहा था। रिटायर्ड फौजी भूषण कुमार ने रविवार रात शराब के नशे में अपने बेटों और साले के साथ मिलकर गंडासी से छह लोगों को मौत के घाट उतार दिया। मरने वालों में तीन मासूम बच्चे भी शामिल हैं। हत्या के बाद भूषण ने सभी को जलाने की कोशिश की। पुलिस ने मौके से 5 अधजली लाशें बरामद की हैं। उधर, हमले में जख्मी बच्ची और बुजुर्ग को चंडीगढ़ पीजीआई रेफर किया गया है। पुलिस ने इस खौफनाक हत्याकांड में संलिप्त फौजी समेत 7 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया है। आरोपितों में दो महिलाएं भी शामिल हैं। पुलिस ने मुख्य आरोपित फौजी को गिरफ्तार कर लिया है।

यह दी शिकायत
हमले में घायल ओमप्रकाश(68) ने पुलिस को दी शिकायत में बताया कि उसके बड़े बेटे भूषण कुमार ने अपनी पत्नी पूनम, लड़के मक्खन और प्रिंस व साले टोनी, जॉनी और साली बेबी ने मिलकर उसके छोटे बेटे के परिवार पर हमला कर दिया। भूषण 7 साल पहले सेना से पेंशन लेकर आया था। उसके पास दो एकड़ जमीन है। यह जमीन उसने बराबर बड़े बेटे भूषण व छोटे बड़े हरीश में बांट दी थी। जमीन को लेकर भूषण व हरीश में रंजिश हो गई। इसी को लेकर भूषण ने हरिश, उसकी मां, पत्नी और उसके बच्चों काे मार डाला।
गंडासी से काटी गर्दन
ओमप्रकाश ने बताया कि भूषण ने अपने सहयोगियों के साथ मिलकर गंडासी से उसकी पत्नी सुरती देवी(65) की गर्दन काट दी। इसके बाद उसपर भी वार किया। उसने गंडासी के वार को अपने हाथ पर झेल लिया। तब वह जान बचाकर चरी के खेतों में जाकर छुप गया। इसके बाद सभी हमलावर उसके छोटे बेटे हरीश के घर में घुस गए और भूषण ने पत्नी पूनम, लड़के मक्खन, प्रिंस, साले टोनी, जॉनी और साली बेबी के साथ हरीश, उसकी पत्नी सोनिया, 5 साल की बेटी याशिका, 6 माह के बेटे मयंक का भी गंडासी के वार से कत्ल कर दिया। दूसरी बेटी परी पर भी हमला किया। वह अचेत होकर गिर गई।
एक बच्ची ने पीजीआई में दम तोड़ा
ओमप्रकाश ने बताया कि जान बचाकर वह छुपते हुए रमेश के ट्यूबवेल पर पहुंचा। यहां उसने रमेश को पूरी घटना की जानकारी दी। इसके बाद वह रमेश के साथ हरीश के घर आया तो देखा कि बाहर काफी सारी अधजली लकड़ियां पड़ी थी। उसमें उसकी पत्नी सुरती, बेटे हरीश, सोनिया, उसके दो बच्चों की लाशें जल रही थी। जबकि अधजली हालत में पोती परी थोड़ी दूरी पर पड़ी हुई थी। दोनों ने मिलकर पहले लकड़ियों से जलती लाशें निकाली। साथ ही पुलिस को वारदात की सूचना दी गई। इसके बाद जख्मी ओमप्रकाश व अधजली परी को नागरिक अस्पताल में दाखिल करवाया गया। यहां उन्हें पीजीआई चंडीगढ़ रेफर कर दिया गया। यहां परी की मौत हो गई।
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