Doctors
- डॉ. अमित व्यास बोले, डॉक्टरों के हित में हर कदम उठाएंगे
- HMC अधिकारियों ने दिए सकारात्मक संकेत
- डीएमए प्रतिनिधिमंडल और HMC अधिकारियों की बैठक
- FMG और डॉक्टरों के हित में उठेंगे कदम
- डॉक्टरों और छात्रों की आवाज बना डीएमए
- HMC का रुख डॉक्टरों के हित में, FMG को राहत की उम्मीद
चंडीगढ़। डेमोक्रेटिक मेडिकल एसोसिएशन (डीएमए) संगठन ने हरियाणा मेडिकल काउंसिल के अधिकारियों से मुलाकात की। डीएमए की राष्ट्रीय टीम ने हरियाणा मेडिकल काउंसिल के रजिस्ट्रार डॉ. मनदीप सचदेवा और सुपरिटेंडेंट डॉ. अनिरुद्ध भारद्वाज से मुलाकात की। इस प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व डॉ. अमित व्यास (राष्ट्रीय प्रमुख एवं अध्यक्ष), डॉ. शुभ प्रताप सोलंकी(राष्ट्रीय महासचिव), डॉ. कमल सिंह(राष्ट्रीय संयुक्त सचिव) तथा कोर सदस्य डॉ. दीपक ने किया। बैठक के दौरान डीएमए टीम ने संगठन की नई शुरुआत के लिए वरिष्ठ अधिकारियों से आशीर्वाद लिया और भविष्य में डॉक्टरों के हित में मिलकर कार्य करने का संकल्प दोहराया। इसके अलावा, विशेष रूप से उन विदेशी मेडिकल ग्रेजुएट्स (FMG) की समस्याओं पर चर्चा की गई जो यूक्रेन से MBBS करके लौटे हैं।डीएमए की टीम ने इन छात्रों की कठिनाइयों और चुनौतियों को विस्तार से रखा।
यूक्रेन युद्ध और कोविड-19 महामारी के कारण कई छात्रों को अपनी पढ़ाई अधूरी छोड़नी पड़ी या ऑनलाइन पूरी करनी पड़ी। इन परिस्थितियों में छात्रों को अतिरिक्त कठिनाइयों का सामना करना पड़ा है।
यह दिलाया याद
डीएमए ने सरकार को यह भी याद दिलाया कि FMG ने 6 साल का MBBS कोर्स और कठिन FMGE परीक्षा पास की है। अनुचित व लंबी इंटर्नशिप से उनका करियर 2-3 साल पीछे जा सकता है एवं आर्थिक व मानसिक दबाव से छात्र और उनके परिवार पहले ही जूझ रहे हैं। हरियाणा मेडिकल काउंसिल की ओर से सकारात्मक और रचनात्मक आश्वासन मिला कि इन छात्रों के भविष्य को सुरक्षित करने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे। राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. व्यास ने कहा, डीएमए हमेशा से डॉक्टरों और मेडिकल छात्रों की आवाज रहा है और रहेगा। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि किसी भी युवा डॉक्टर का करियर संकट में न आए। डॉ व्यास ने हरियाणा मेडिकल काउंसिल के अधिकारियों और पूरे स्टाफ की मेहनत और लगन से किए जा रहे कार्यों की सराहना की तथा उनके सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया।
डीएमए के लिए एक महत्वपूर्ण कदम
राष्ट्रीय महासचिव डॉ. शुभ प्रताप सोलंकी ने कहा -आने वाले समय में डीएमए राज्य स्तर पर भी अपनी टीमों का गठन करेगा, ताकि हर राज्य में डॉक्टरों की समस्याओं को सीधे सरकार तक पहुंचाया जा सके। यह मुलाकात डीएमए के लिए एक महत्वपूर्ण कदम मानी जा रही है, जो आने वाले दिनों में डॉक्टरों के अधिकारों और मेडिकल छात्रों के हित में बड़े बदलाव की दिशा में मार्ग प्रशस्त कर सकती है। इस अवसर पर FMG की ओर से डॉ. शिवम शर्मा, डॉ. रंजन शर्मा, डॉ सोनू, डॉ. नेहा कक्कड़ और डॉ. रामकुमार गर्ग भी मौजूद रहे।