Sawan Month
- सोमवार से शुरू होगा श्रावण का महीना
- पांच सोमवार बना रहे खास, करें शिव आराधना
- हर मनोकामना पूर्ण करते हैं भगवान शिव
Sawan Month : ओम नम: शिवाय रिपोर्ट : पंडित दीपक शर्मा, ज्योतिषी, पानीपत
Sawan Month : इस बार सावन का महीना सोमवार 22 जुलाई से शुरू हो रहा है। यह अपने आप में एक दुर्लभ संयाेग है। इस बार सावन माह में पांच सोमवार होंगे जो इसे विशेष फलदायी बना रहे हैं। इस माह में भगवान भोलेनाथ की सच्चे मन से पूजा करें। भोलेनाथ अपने भक्तों पर विशेष कृपा बरसाते हैं। यदि सच्ची श्रद्धा से भगवान की आराधना की जाए तो वे हर मनोकामना पूर्ण करते हैं और मनोवांछित फल प्रदान करते हैं। श्रावण मास में भगवान शिव का जलाभिषेक करें, बेल पत्र और फल चढ़ाएं।
सावन में ऐसे मनाएं बाबा को
- सुबह जल्दी उठकर स्नान कर साफ कपड़े पहनकर भोलेनाथ की पूजा करें।
- भगवान शिव की पूजा उत्तराभिमुख होकर करनी चाहिए।
- शिव से पहले गणेशजी, पार्वती, कार्तिक, नंदी, कुबेर और सर्प देवता की पूजा करें।
- यजुर्वेदीय रुद्री पाठ के साथ जलाभिषेक करना विशेष फलदायी रहेगा।
- शिव को भांग, धतूरा, शमीपत्र, विपल्व पत्र अर्पित करने से मनोवांछित फल मिलेगा।
- पंचाक्षर मंत्र और महामृत्यंजय का जाप करना भी विशेष फलदायी।
- सावन में शिवलिंग पर गन्ने का रस, पंचामृत और रुद्राक्ष अर्पित करने से सभी मनोकामना पूर्ण होंगी। असाध्य रोगों और दु:खों से मुक्ति मिलेगी।
मंगला गौरी व्रत
इस बार सावन माह में महाशिवरात्रि और मंगला गौरी का व्रत इस महीने को और भी पवित्र और फलदायी बना रहा है। दो अगस्त शुक्रवार को महाशिवरात्रि का व्रत होगा। इस दिन भगवान की पूजा करें और वरदान प्राप्त करें। महाशिवरात्रि पर सर्वार्थ सिद्धी योग और यज संयोग से भगवान शिव और माता लक्ष्मी जी की विशेष कृपा होगी।
पूजा का समय
- प्रथम पहर: शाम 7:11 बजे से रात 9:49 बजेे तक रहेगा।
- द्वितीय पहर: रात 9:49 बजे से मध्यरात्रि 12:27 बजे तक।
- तृतीय पहर: मध्यरात्रि 12:27 बजे से सुबह 3:06 बजे तक।
- चतुर्थ पहर: 3 अगस्त सुबह 3:06 बजे से 5:44 बजे तक।
- निशित काल मुर्हूत: दोपहर 12:06 बजे से दोपहर 12:49 बजे तक विशेष फलदायी रहेगा।
- इस बार निशित काल मुर्हूत 43 मिनट तक रहेगा। इसमें पूजा करना विशेष दुर्लभ, बहुत फलदायी रहेगा।https://vartahr.com/sawan-month/