Vote Chori :
- – वोट चोरी पर कांग्रेस को जवाब देने में जुटे भाजपा के सियासी दिग्गज-
- -भाजपा प्रदेशाध्यक्ष और तमाम मंत्री बचाव में उतरे, राहुल गांधी द्वारा लगाए जा रहे आरोपों को बताया हवा हवाई, मंत्रियों ने पूछा चुनाव आयोग को शिकायत क्यों नहीं की, मतदान के दौरान कांग्रेस के एजेंट्स क्या कर रहे थे
- -वरिष्ठ मंत्री अनिल विज और मंत्री कृष्ण बेदी ने बोला हमला-बोले राहुल गांधी विदेश से लौटकर युवाओं को गुमराह करने की कोशिश में राहुल गांधी लेकिन युवा वोटर बेहद जागरूक
हरियाणा में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और नेता विपक्ष राहुल गांधी द्वारा ‘वोट चोरी’ के आरोपों को लेकर जहां कांग्रेस के नेताओं द्वारा लगातार हमले किए जा रहे हैं। वहीं युवा कांग्रेस ने बृहस्पतिवार को जिला मुख्यालयों पर प्रदर्शन किया। वहीं इसके पलटवार में भाजपा के भी सियासी दिग्गज जुट गए हैं। भाजपा के नेताओं ने भी एक सुर में राहुल के हवाई हवाई आरोपों को लेकर कहा कि वोटर खुद ही उनको जवाब दे रहे हैं। भाजपा के सियासी दिग्गजों ने तर्क दिया है कि चुनाव में हार जीत की जहां तक बात है, भाजपा के भी कईं सियासी दिग्गज बेहद ही कम अंतर से हारे हैं। हिमाचल और तेलंगाना अन्य राज्यों में जहां कांग्रेस की सरकार हैं, वहां के बारे में भी राहुल गांधी बताएं।
चुनाव आयोग की ओर के आंकड़ों और भाजपा के सियासी दिग्गजों के दावों पर ध्यान दें, तो भाजपा के भी कईं प्रत्याशी बेहद ही कम वोटों से चुनाव हार गए थे। इनमें प्रमुख चेहरों की बात करें, तो लोहारू सीट पर कांग्रेस पार्टी की ओर से राजबीर फरटिया ने भाजपा के प्रत्याशी और पूर्व मंत्री जयप्रकाश दलाल को 792 वोटों से पराजित किया था।
आदमपुर सीट की बात करें, तो कांग्रेस पार्टी से चंद्र प्रकाश ने भाजपा के टिकट पर भाग्य आजमाने वाले स्वर्गीय भजनलाल के पौते भव्य बिश्नोई को 1,268 मतों से पराजित किया था। इसी तरह से पंचकूला सीट की बात की जाए, तो कांग्रेस पार्टी की ओर से चुनाव लड़े चंद्रमोहन बिश्नोई (पूर्व में डिप्टी सीएम हुड्डा सरकार पार्ट वन) में इस वक्त एमएलए हैं। उन्होंने भाजपा से चुनाव लड़ने वाले दिग्गज नेता ज्ञान चंद गुप्ता को मात्र 1997 मतों के अंतर से पराजित किया था । साढौरा सीट की बात करें, तो कांग्रेस पार्टी की रेणुबाला ने भाजपा टिकट पर लड़े बलवंत सिंह 1699 मतों के अंतर हरा दिया था। इसी तरह से भाजपा के पूर्व मंत्री रोहतक में कांग्रेस पार्टी के विधायक बने बीबी बत्रा से1341 मतों से हार गए थे। थानेसर (कुरुक्षेत्र) सीट की बात करें, तो कांग्रेस पार्टी के अशोक अरोड़ा ने भाजपा प्रत्याशी और पूर्व मंत्री सुभाष सुधा को 3243 मतों से हार का मजा चखाया था।
फतेहाबाद कांग्रेस पार्टी की ओर से लड़े बलवान दौलतपुरिया ने भाजपा प्रत्याशी दुड़ाराम को 2252 मतों से हरा दिया था। यह भी कोई बड़ा अंतर नहीं है। इस पर भाजपा के सियासी दिग्गजों का कहना है कि राहुल गांधी को उनकी पार्टी के कुछ लोग सलाहकार जो भी कागज पकड़ा देते हैं, वे उसको पढ़कर रिसर्च बता डालते हैं। भाजपा नेताओं का कहना है कि राहुल गांधी भाजपा के हारने वाले प्रत्याशियों के बारे में भी जानकारी दें। भाजपा ने अक्टूबर 2024 में विस चुनावों के दौरान 55 लाख वोट हासिल किए थे और 48 विधानसभा सीटें जीती थी। राज्य में पहली बार हुआ है कि किसी एक पार्टी ने तीसरी बार सरकार बना ली हो। कांग्रेस को 54 लाख वोट मिले और 37 विधानसभा सीटों पर जीत जनता ने दी। उचाना कलां, चरखी दादरी, होडल, सफीदो, घरौंडा, असंध, राई और खरखौदा विधानसभा सीटों पर कांग्रेस भाजपा से साढ़े पांच हजार से भी कम वोटों से चुनाव हारी। भाजपा सात विधानसभा सीटें लोहारू, आदमपुर, पंचकूला, सढ़ोरा, रोहतक, थानेसर और फतेहाबाद विधानसभा सीटों पर साढ़े तीन हजार से कम मतों के अंतर से चुनाव हार गई।
भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मोहन लाल बड़ौली और मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा है कि वोटों की चोरी सिर्फ हार को छिपाने का बहाना बना रहे हैं, वोटों की चोरी की होती तो भाजपा सात सीटें इतने मामूली अंतर से क्यों हार गई यह भी जनता को बताएं
12 विधानसभा सीटों पर जीत-हार का अंतर 4623 वोट से कम लोकसभा और विधानसभा चुनाव के बीच मात्र पांच माह में हरियाणा में चार लाख 16 हजार 103 मतदाता बढ़े। मई 2024 में लोकसभा चुनाव में एक करोड़ 99 लाख 38 हजार 247 मतदाता थे। यह बढ़कर विधानसभा चुनाव में दो करोड़ तीन लाख 54 हजार 350 हो गए।
