UDF
- पिछले सात साल से 5000/- प्रति माह में काम करने को मजबूर
- आयुष्मान मुख्य कार्यालय हुआ प्रशासनिक लापरवाहियों का शिकार
- यूडीएफ ने स्वास्थ्य विभाग के एसीएस को पत्र लिख की कार्रवाई की मांग
- पत्रों का जवाब देने से बच रहे पंचकूला में आयुष्मान अधिकारी
UDF : चंडीगढ़। यूनाइटेड डॉक्टर्स फ्रंट (यूडीएफ) लगातार आयुष्मान मित्रों की आवाज़ उठा रहा है। इनकी मुख्य मांग थी कि आयुष्मान मित्र जो कि हरियाणा में 5000/- में कार्यरत हैं, उनके वेतन को बढ़ाया जाए या एचकेआरएन पोर्टल में शामिल किया जाए। यूडीएफ हरियाणा के प्रदेशाध्यक्ष डॉ. अमित व्यास ने बताया कि 30 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लिखा जा चुका है। 05 मार्च को स्वास्थ्य मंत्री कुमारी आरती सिंह राव से चंडीगढ़ सचिवालय में मुलाकता की गई। 25 अप्रैल को आयुष्मान मुख्य अधिकारी संगीता तेतरवाल से भी पंचकूला में मुलाकात की, लेकिन अभी तक समस्या का काेई समाधान नहीं निकला। सरकार आयुष्मान मित्रों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है। डॉ व्यास ने बताया कि प्रधानमंत्री जन आरोग्य (आयुष्मान भारत) योजना को सुचारू रूप से चला रहे आयुष्मान मित्र वर्ष 2018 से इस योजना में कार्यरत हैं। इनका चयन ठेकेदारी प्रथा के तहत हुआ था। वहीं, ठेकेदारी प्रथा जिसको वर्ष 2022 को खत्म करके हरियाणा कौशल रोजगार निगम लिमिटेड (एचकेआरएनएल) पोर्टल लाया गया। ठेकेदारी प्रथा के सभी कर्मचारी कौशल निगम में पोर्ट कर दिए गए, लेकिन आयुष्मान मित्रों को संबंधित अधिकारियों ने एक लेटर जारी कर पार्ट टाइम घोषित कर दिया। यूडीएफ उपाध्यक्ष डॉ शुभ प्रताप सोलंकी ने बताया कि केंद्र सरकार द्वारा अनुमोदित एवं वित-पोषित योजना होने के कारण राज्य सरकार की अनियमितता,गंभीर प्रशासनिक विफलता को दर्शाता है।
ये मांगे पूरी हों
-आयुष्मान मित्रों को अविलंब एचकेआरएनएल पोर्टल में शामिल किया जाए अथवा चंडीगढ़ या अन्य राज्यों की भाँति न्यूनतम वेतन सुरक्षा दी जाए।
-सभी आयुष्मान मित्रों को अन्य कर्मचारियों की तर्ज पर सभी प्रकार की छुट्टियां चिकित्सीय अवकाश (ML),आकस्मिक अवकाश(CL) आदि दी जाए।
-डॉ व्यास ने बताया कि जब तक आयुष्मान मित्रो की माँगो को पूरा नहीं किया जाए तब तक संघर्ष जारी रहेगा। यूडीएफ संगठन डॉक्टर्स और स्वास्थ्यकर्मियों की समस्या के लिए हर समय तत्पर रहेगा।