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Haryana News : हरियाणा मंत्रिसमूह की बैठक में कई ऐलान, कर्मचारियों के तीन अहम घोषणा

Haryana News

  •  विधानसभा का मानसून सत्र 22 अगस्त से
  •  हरियाणा विधानसभा विधायकों को प्रतिमाह दस हजार मेडिकल भत्ता
  •  महिलाओं को 2100 रुपये महीने के लिए रजिस्ट्रेशन जल्द
  •  पेंशनर्स को मिलेगा 10000 रुपये मासिक भत्ता
  •  एचकेआरएन के तहत लगे कर्मियों को एसओपी की मंजूरी
  •  1.20 लाख कच्चे कर्मचारियों को रिटायरमेंट तक नौकरी की सुरक्षा
  •  बैठक में 21 एजेंडे रखे गए, 17 को मिली मंजूरी

Haryana News : चंडीगढ़। मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी की अध्य़क्षता हुई प्रदेश कैबिनेट की बैठक में शुक्रवार को कई अहम फैसले लिए गए हैं। बैठक में कुल 21 एजेंडे रखे गए थे, इनमें से 17 पर मंत्रिमंडल ने मुहर लगा दी। बैठक के बाद सीएम सैनी फैसलों की जानकारी देते हुए बताया कि हरियाणा विधानसभा का मानसून सत्र 22 अगस्त से बुलाया गया है। विस सदस्यों 60 से ज्यादा आयु वालों को 10,000 रुपये प्रतिमाह मेडिकल भत्ता देने पर भी मुहर लगाई है। बैठक में कर्मचारियों से जुड़े तीन अहम फैसले लिए हैं। अब ग्रुप-बी की नौकरियों के नियमों में बदलाव किया गया है और कुछ नए पदों को भी इन नियमों में शामिल किया है। साथ ही उप निदेशक के पद पर सीधी भर्ती के लिए अब यूजीसी-नेट की योग्यता अनिवार्य नहीं रहेगी। ये तीनों मांगें काफी समय से कर्मचारी सरकार से कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार पहले भी कर्मचारियों के हित में फैसले लेती रही है और आगे भी ऐसा करती रहेगी। इसके अलावा संविदा पर लगे कर्मियों को लेकर एसओपी पर भी मुहर लगा दी गई है, जिसका काफी दिनों से इंतजार किया जा रहा था। पंचकूला एग्रो माल में आवंटित दुकानों को लेकर भी अलाटियों को थोड़ी राहत प्रदान कर दी गई है। मंत्रिमंडल की बैठक में हरियाणा विधानसभा (सदस्यों को चिकित्सा सुविधाएं) नियम, 1988 में संशोधन को मंजूरी दी। संशोधन के अनुसार, 60 वर्ष से अधिक आयु के पेंशनरों को 10 हजार प्रतिमाह की दर से चिकित्सा भत्ता देने का प्रावधान किया है। संशोधन का उद्देश्य वर्तमान में विधानसभा के हर सदस्य को स्वयं और परिवार के सदस्यों के लिए स्वीकार्य चिकित्सा सुविधाओं का लाभ पारिवारिक पेंशन प्राप्तकर्ताओं को प्रदान करना है।

संविदा कर्मियों को सौगात

-संविदा कर्मियों यानी हरियाणा कौशल रोजगार निगम (एचकेआरएन) के तहत लगे कर्मचारियों के लिए एसओपी को मंजूरी दी गई है। इसके जरिए 1.20 लाख कच्चे कर्मचारियों को रिटायरमेंट तक जॉब की सिक्योरिटी दी जाएगी। महिला एवं बाल विकास विभाग के उप निदेशक की भर्ती के लिए यूजीसी-नेट की जरूरत खत्म कर दी गई है।

-हरियाणा जन्म एवं मृत्यु पंजीकरण नियम, 2025 को मंजूरी दी गई। हरियाणा विधानसभा (सदस्यों को चिकित्सा सुविधाएं) नियम, 1988 में संशोधन को मंजूरी दी गई है। अब 60 वर्ष से अधिक आयु के पेंशनर्स पूर्व विधायकों को 10 हजार रुपए प्रतिमाह की दर से चिकित्सा भत्ता मिलेगा।

-कैबिनेट ने 22 अगस्त से विधानसभा का मानसून सत्र भी तय कर दिया है। हालांकि ये कितने दिन का होगा, इसका फैसला बिजनेस एडवाइजरी कमेटी (बीएसी) की मीटिंग में किया जाएगा। सीएम नायब सैनी ने बताया कि इस मीटिंग में 21 एजेंडे रखे गए थे, जिनमें से 17 पास कर दिए गए हैं।

-हरियाणा महिला एवं बाल विकास विभाग, ग्रुप बी सेवा नियम, 1997 में प्रमुख संशोधनों को मंज़ूरी दी गई, ताकि इन्हें वर्तमान प्रशासनिक और भर्ती आवश्यकताओं के अनुरूप बनाया जा सके। इन संशोधनों में पदों के नामकरण, वेतनमान, शैक्षणिक योग्यता में परिवर्तन तथा विभागीय सेवा नियमों में नवसृजित पदों को शामिल करना शामिल है।

-बाल विकास परियोजना अधिकारी (महिला) और कार्यक्रम अधिकारी (महिला) के पदों का आधिकारिक नाम बदलकर क्रमशः महिला एवं बाल विकास परियोजना अधिकारी (महिला) और जिला कार्यक्रम अधिकारी (महिला) किया गया है।

जन्म और मृत्यु प्रमाण पत्र में नहीं होगी गड़बड़ी

हरियाणा जन्म एवं मृत्यु रजिस्ट्रेशन रूल, 2025 को मंजूरी दी गई। ये नियम राज्य के रजिस्ट्रेशन सिस्टम को हाईटेक बनाने के लिए किया जाएगा। इसके जरिए अब जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र में लोग गड़बड़िया नहीं कर पाएंगे। अभी तक कई लोग कागजों में गड़बड़ी कर या अधिकारियों से मिलीभगत कर जन्म और मृत्यु की डेट में बदलाव कर लाभ प्राप्त कर लेते थे। इसकी कई शिकायतें और मामले भी सरकार के सामने आए थे, जिसके बाद अब सरकार के संशोधन के बाद इन नए नियमों से जन्म और मृत्यु की रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया को व्यवस्थित होगी, रिकॉर्ड रखने में सुधार होगा।

हरियाणा सिख गुरुद्वारा (प्रबंधन) अधिनियम, 2014 में संशोधन को मंज़ूरी

सिख गुरुद्वारों के प्रबंधन से जुड़े कानूनी ढांचे को और अधिक सुदृढ़ करने हेतु हरियाणा सिख गुरुद्वारा (प्रबंधन) अधिनियम, 2014 में संशोधन के प्रस्ताव को मंज़ूरी प्रदान की गई। इन संशोधनों का उद्देश्य पारदर्शिता बढ़ाना, न्यायिक निगरानी सुनिश्चित करना और गुरुद्वारा संपत्तियों की घोषणा एवं प्रशासन के लिए स्पष्ट संरचना उपलब्ध कराना है। मुख्य बदलावों में अधिनियम की धारा 17(2)(सी) को हटाया गया है।

नाबार्ड से 1,850 करोड़ का कर्ज

एनआईडीए (नाबार्ड अवसंरचना विकास सहायता) योजना के अंतर्गत नाबार्ड से 1,850 करोड़ रुपये के सावधि ऋण के लिए राज्य सरकार की गारंटी बढ़ाने को स्वीकृति प्रदान की गई। यह ऋण हरियाणा अंतर्राष्ट्रीय बागवानी विपणन निगम लिमिटेड (एचआईएचएमसीएल) द्वारा गन्नौर में संचालित भारत अंतर्राष्ट्रीय बागवानी बाज़ार (आईआईएचएम) के विकास में सहायता करेगा। गन्नौर स्थित आईआईएचएम परियोजना को बागवानी उत्पादों के लिए एक अखिल भारतीय आधुनिक टर्मिनल बाज़ार के रूप में योजनाबद्ध किया है और इसे ‘‘राष्ट्रीय महत्व का बाज़ार’’ घोषित किया गया है।

एससी जाति मृतक महिला के आश्रित को अनुकंपा आधार पर नियुक्ति

सत्र न्यायालय, रोहतक द्वारा जारी निर्देशों के अनुपालन में, अनुसूचित जाति की एक मृतक महिला के आश्रित पुत्र को अनुकंपा आधार पर नियुक्ति प्रदान करने को घटनोत्तर स्वीकृति प्रदान की गई। यह मामला अनुसूचित जाति की महिला मुकेश देवी से संबंधित है।

खनिज से भरे वाहनों पर 80 रुपये प्रति मीट्रिक टन शुल्क

अंतर-राज्यीय पारगमन पास (आईएसटीपी) ढांचे के कार्यान्वयन हेतु अध्याय 15 में नियम 98ए के उप-नियम 14 में संशोधन को मंजूरी दी गई। इसके अलावा , हरियाणा माइनर मिनरल कन्सेशन , स्टॉकिंग , ट्रांसपोर्टेशन ऑफ़ मिनरल्स एंड प्रिवेंशन ऑफ़ इल्लीगल माइनिंग रूल्स ,2012 के रूल्स 9(5) एंड 10(3) के अंतर्गत रॉयल्टी दरों के संशोधन को मंज़ूरी दी गई। इन नियमों को हरियाणा लघु खनिज रियायत, भण्डारण, खनिजों का परिवहन एवं अवैध खनन निवारण नियम (संशोधन) नियम, 2025 कहा जायेगा। नियम 98ए के उप-नियम 14 में संशोधन के पश्चात, हरियाणा के भीतर आने वाले सभी खनिज से लदे वाहनों और राज्य के बाहर के स्थानों पर खनिजों का परिवहन करने वाले वाहनों पर अब 80 रुपये प्रति मीट्रिक टन शुल्क लगेगा।

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