Chunav
- -चुनाव आयोग ने जारी किए सख्त निर्देश
- -नियमों के उल्लंघन पर सख्त कार्रवाई की जाएगी
- -मुख्य सचिव और मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी को निर्देश दिया
नई दिल्ली। निर्वाचन आयोग ने बिहार विधानसभा के आम चुनावों की घोषणा के बाद राज्य में आदर्श आचार संहिता के सख्त और प्रभावी पालन के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश जारी किए हैं। आयोग ने सभी राजनीतिक दलों, उम्मीदवारों और सरकारी अधिकारियों को चेतावनी दी है कि नियमों के उल्लंघन पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। आयोग ने बिहार के मुख्य सचिव और मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी को निर्देश दिया है कि आचार संहिता तुरंत प्रभाव से लागू की जाए और यह न केवल राज्य सरकार बल्कि केंद्र सरकार के घोषणाओं व नीति निर्णयों पर भी लागू होगी।
मुख्य निर्देश और प्रावधान
1. सार्वजनिक और निजी संपत्तियों से प्रचार सामग्री हटाना अनिवार्य – सरकारी भवनों, आवासों या अन्य संपत्तियों का किसी भी राजनीतिक दल या उम्मीदवार द्वारा उपयोग सख्त रूप से प्रतिबंधित रहेगा। सरकारी खर्च पर विज्ञापन जारी करना भी वर्जित होगा।
2. नागरिकों की निजता का सम्मान – किसी भी निजी आवास, दीवार, भूमि या भवन पर बिना अनुमति झंडे, बैनर या पोस्टर नहीं लगाए जा सकेंगे।
3. शिकायत प्रणाली 24×7 सक्रिय – किसी भी नागरिक या राजनीतिक दल द्वारा आचार संहिता उल्लंघन की शिकायत 1950 हेल्पलाइन नंबर पर दर्ज कराई जा सकती है। आयोग ने इसके लिए 24×7 काम करने वाली शिकायत प्रणाली सक्रिय की है। साथ ही, नागरिक सी-विजिल ऐप के माध्यम से भी उल्लंघन की सूचना दे सकते हैं।
4. 824 फ्लाइंग स्क्वॉड तैनात – आयोग ने राज्यभर में 824 उड़न दस्ते तैनात किए हैं जो शिकायत मिलने के 100 मिनट के भीतर कार्रवाई करेंगे।
5. मंत्रियों और अधिकारियों पर सख्ती – मंत्रियों को चुनावी प्रचार में सरकारी मशीनरी, वाहन, संसाधन या कर्मियों का उपयोग करने की अनुमति नहीं होगी। सभी अधिकारियों को निष्पक्ष रहकर कार्य करने और किसी भी दल के प्रति पक्षपात से बचने का निर्देश दिया गया है।
6. जनसभा और जुलूसों के लिए नियम – राजनीतिक दलों को रैलियों, सभाओं और जुलूसों के आयोजन के लिए अग्रिम अनुमति लेनी होगी। यातायात और सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखना अनिवार्य होगा।
7. सार्वजनिक स्थानों का समान उपयोग – मैदानों और हेलिपैड जैसे सार्वजनिक स्थान सभी दलों को समान शर्तों पर उपलब्ध कराए जाएंगे। इसके लिए ‘सुविधा मॉड्यूल’ को ईसीआईनेट पर सक्रिय किया गया है, जहां दल पहले आओ पहले पाओ के आधार पर आवेदन कर सकते हैं।
आयोग ने दोहराया है कि चुनाव प्रक्रिया की साख बनाए रखने के लिए सभी दलों, उम्मीदवारों और सरकारी अधिकारियों को निर्देशों का पालन करना आवश्यक है।
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